समय-सीमा में संपरीक्षा का कार्य नहीं कराने पर संबंधित अधिकारियों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही की जायेगी:- पी. नरहरि
भोपाल:-: नगरीय निकाय अब एक चार्टर्ड एकाउंटेंट से अधिकतम 3 वर्ष के लेखों की संपरीक्षा करा सकेंगे। चार्टर्ड एकाउंटेट का चयन नगरीय निकायों द्वारा ही निर्धारित मापदंड के अनुसार किया जायेगा। जिन निकायों में डबल एंट्री अकाउंटिंग सिस्टम का कार्य पूरा किया गया है, उनमें संपरीक्षा का कार्य उस फर्म द्वारा नहीं किया जायेगा जिसके द्वारा डबल एंट्री अकाउंटिंग का कार्य किया गया है। आयुक्त नगरीय प्रशासन एवं विकास श्री पी. नरहरि द्वारा इस संबंध में विस्तृत निर्देश जारी कर दिए गए हैं।नगरीय निकायवार एक वर्ष की संपरीक्षा चार्टर्ड एकाउंटेंट से कराये जाने के लिये अधिकतम दरें (जीएसटी छोड़कर) निर्धारित कर दी गई हैं। यह दरें नगर परिषद के लिये 35 हजार, नगर पालिका परिषद के लिये 65 हजार, 5 लाख से कम जनसंख्या वाले नगर पालिक निगम के लिये एक लाख, 5 लाख से अधिक जनसंख्या वाले नगर पालिक निगम के लिये एक लाख 50 हजार और 15 लाख से अधिक जनसंख्या वाले नगर पालिक निगमों के लिये 2 लाख रूपये होगी।
श्री नरहरि ने कहा है कि संपरीक्षा का कार्य 15 सितंबर तक अनिवार्य रूप से करवाएँ। उन्होंने कहा है कि समय-सीमा में संपरीक्षा का कार्य नहीं कराने पर संबंधित अधिकारियों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही की जायेगी।